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Chhattisgarh Gaudham Yojana | छत्तीसगढ़ गौधाम योजना | चरवाहों, गौसेवकों की सीधी भर्ती | GaudhamScheme

Chhattisgarh Gaudham Yojana


छत्तीसगढ़ गौधाम योजना का उद्देश्य :-

छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा निराश्रित, घुमन्तु, जप्त गौवंशों का वैज्ञानिक पद्धति से संरक्षण एवं संवर्धन करने के उद्देश्य से गौधाम योजना की शुरूआत की गई है। योजना के प्रथम चरण में प्रदेश की प्रमुख राष्ट्रीय राजमार्ग के आस-पास के ग्रामीण क्षेत्रों में सुविधायुक्त शासकीय भूमि एवं गौठानों में गौधाम की स्थापना की जाएगी। जहां अधिकतम 200 गौवंशों को रखा जाएगा। 

गौधाम संचालन हेतु पात्र संस्था :-

गौधाम के लिए चिन्हांकित भूमि के निकट स्थित छत्तीसगढ़ राज्य गौसेवा आयोग में पंजीकृत व संचालित गौशाला समिति को गौधाम संचालन के लिए प्राथमिकता दी जाएगी। गौशाला समिति द्वारा गौधाम संचालन के लिए असहमति देने पर गौधाम संचालन हेतु निम्न संस्था से आवेदन आमंत्रित किए जाएंगे। 

  • पंजीकृत गौशाला समिति (प्राथमिकता)
  • स्वयंसेवी संस्था, 
  • एन.जी.ओ., 
  • ट्रस्ट,
  • फार्मर प्रोड्यूसर कम्पनी, 
  • सहकारी समिति 

गौधाम के संचालन के लिए संस्था की योग्यता एवं मापदण्ड :-

  • गौसेवा के क्षेत्र में 5 वर्ष के कार्य का अनुभव, 
  • नस्ल सुधार एवं संचालन के क्षेत्र में 3 वर्ष का अनुभव, 
  • संस्था द्वारा पशुपालकों को प्रशिक्षण दिये जाने का अनुभव, 
  • जैविक खाद उत्पादन एवं जैविक खेती का अनुभव, 
  • हरा चारा उत्पादन कार्यक्रम का अनुभव, 
  • सामाजिक कार्य का अनुभव 
  • गौधाम संचालक संस्थ का कार्यकाल

- गौधाम संचालन हेतु संस्था का चयन छत्तीसगढ़ राज्य गौसेवा आयोग द्वारा किया जाएगा। 
- चयनित संस्था का कार्यकाल 5 वर्ष का होना। 
- जिसे क्रियान्वयन समिति के अनुमोदन पर बढ़ाया जा सकता है। 

चयनित संस्था का कार्य एवं गौधाम योजना का उद्देश्य :-

  • गौधाम के लिए उपलब्ध कराई गई भूमि पर आवश्यकता अनुसार निर्माण कार्य 
  • गौधाम में उपलब्ध गौवंशों की चारा-पानी, टीकाकरण, स्वास्थ्य उपचार सहित देखभाल 
  • नर गौवंश का बधियाकारण कराकर बैलजोड़ी तैयार करना, जिसे पशुधन विकास विभाग द्वारा आवेदकों को निःशुल्क वितरित किया जा सके। 
  • राष्ट्रीय गोकुल मिशन के तहत मादा गोवंश की नस्ल सुधार का कार्य करना। 
  • संस्था को उपलब्ध कराई गई भूमि पर चारा विकास कार्य। 
  • गोबर एवं गौमूत्र से जैविक खाद, कीटनाशक सहित अन्य गौउत्पाद बनाया 
  • किसानों एवं पशुपालकों को प्रशिक्षण देना 

छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा संस्था को वित्तीय सहायता :-

- छत्तीसगढ़ गौसेवा आयोग द्वारा गौधाम को पोषण आहार के लिए अनुदान 

  • पहले वर्ष 10 रूपए प्रतिदिन/पशु 
  • दूसरे वर्ष 20 रूपए प्रतिदिन/पशु
  • तीसरे वर्ष 30 रूपए प्रतिदिन/पशु
  • चौथे वर्ष 35 रूपए प्रतिदिन/पशु 

- गौधाम में चरवाहा एवं गौसेवक की भर्ती की जाएगी

  • चरवाहा को प्रतिमाह 10916 रूपए मानदेय और
  • गौसेवक (प्राईवेट कृत्रिम गर्भाधान कार्यकर्ता) को प्रतिमाह 13126 रूपए मानदेय दिया जाएगा।

- नस्ल सुधार हेतु 1 लाख 50 हजार रूपए व्यय 

- 5 एकड़ भूमि पर चारा विकास के लिए पहले वर्ष 2 लाख 85 हजार रूपए की सहायता 

- गौधाम में अधोसंचना विकास के लिए 5 लाख रूपए की सहायता 

- गौधाम के संचालन के लिए कुल वित्तीय सहायता

  • प्रथम वर्ष 19 लाख 54 हजार रूपए, 
  • दूसरे वर्ष 21 लाख 34 हजार रूपए, 
  • तीसरे वर्ष 28 लाख 64 हजार रूपए 
  • चौथे वर्ष 32 लाख 29 हजार रूपए 

गौधाम संचालन हेतु संस्था का चयन :- 

  • जिला प्रशासन द्वारा गौधाम स्थापना के लिए स्थान चयन एवं आवश्यक जानकारी रजिस्ट्रार छत्तीसगढ़ राज्य गौसेवा आयोग को प्रस्ताव भेजना
  • रजिस्ट्रार द्वारा प्रस्तावित स्थल पर निर्मित संरचनाओं का भौतिक सत्यापन 
  • रजिस्ट्रार द्वारा प्रस्तावित स्थल के निकट संचालित पंजीकृत गौशाला समिति से गौधाम संचालन हेतु सहमति 
  • गौशाला समिति द्वारा गौधाम संचालन हेतु असहमत होने पर अन्य संस्थाओं से गौधाम संचालन हेतु आवेदन आमंत्रित
  • जिला प्रशासन द्वारा गौधाम संचालन हेतु संस्था का चयन कर आवश्यक जानकारी रजिस्ट्रार को भेजना
  • प्रशासकीय अनुमोदन प्राप्त होने पर छत्तीसगढ़ राज्य गौसेवा आयोग तथा चयनित संस्था के मध्य गौधाम संचालन हेतु अनुबंध
  • रजिस्ट्रार द्वारा गौधाम का रजिस्ट्रीकरण प्रमाण पत्र जारी 
  • गौधाम का संचालन चयनित संस्था को सौंपना 
  • गौधाम में चरवाहों और गौसेवकों की भर्ती की जाएगी।

विस्तृत जानकारी के लिए पशुधन विकास विभाग द्वारा गोधाम योजना के संबंध जारी स्वीकृति आदेश PDF